Sunday, February 05 2023
October 31, 2021
प्लास्टिक के लिए एक परिपत्र प्रणाली प्रतिबद्धता बनाने के लिए राष्ट्रीय स्तर पर प्रमुख व्यवसायों को एक साथ लाने के लिए एक नई पहल शुरू करते हुए, भारत प्लास्टिक समझौता विकसित करने वाला पहला एशियाई देश है। यह समझौता यूके रिसर्च एंड इनोवेशन द्वारा समर्थित है। इंडिया प्लास्टिक पैक्ट (IPP) ने विश्व वन्यजीवन कोष इंडिया तथा भारतीय उद्योग परिसंघ (सीआईआई) के सहयोग से लॉन्च किया गया है। इस पैक्ट की 3 सितंबर को CII के 16वें सस्टेनेबिलिटी समिट में घोषणा की गई थी। लॉन्च के हिस्से के रूप में, 27 व्यवसायों और सहायक संगठनों, जिनमें प्रमुख फास्ट-मूविंग कंज्यूमर गुड्स (एफएमसीजी) ब्रांड, निर्माता, खुदरा विक्रेता और रिसाइकलर शामिल हैं, ने संस्थापक सदस्यों के रूप में समझौते के प्रति अपनी प्रतिबद्धता व्यक्त की।
भारत सालाना 9.46 मेगाटन प्लास्टिक कचरा उत्पन्न करता है, जिसमें से 40% एकत्र नहीं किया जाता है। देश में उत्पादित सभी प्लास्टिक का लगभग आधा पैकेजिंग में उपयोग किया जाता है, जिनमें से अधिकांश प्रकृति में एकल उपयोग है।
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