Monday, January 30 2023
December 11, 2021
भारत के राष्ट्रपति श्री राम नाथ कोविंद ने कहा है कि जनरल बिपिन रावत एक असाधारण सेनानायक थे, और उनकी मृत्यु एक ऐसा शून्य पैदा करती है जिसे भरा नहीं जा सकता। राष्ट्रपति देहरादून में भारतीय सैन्य अकादमी की पासिंग आउट परेड की समीक्षा के अवसर पर बोल रहे थे।
राष्ट्रपति ने कहा कि हम आज यहां एकत्र हुए हैं जब देश को चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ जनरल बिपिन रावत के असामयिक निधन के सदमे से बाहर आना बाकी है। उत्तराखंड उनका घर था और उन्हें भारतीय सैन्य अकादमी में प्रशिक्षित किया गया था। भारतीय सैन्य अकादमी (आईएमए) में उन्हें उनके असाधारण कौशल के लिए स्वॉर्ड ऑफ़ ऑनर से सम्मानित किया गया था। यदि यह दारुण त्रासदी न हुई होती तो वे कैडेटों के लिए खुशी और गर्व के साथ पासिंग आउट परेड को देखते हुए आज यहां हमारे बीच होते।
राष्ट्रपति ने कहा कि जनरल रावत ने उस भारतीय सैन्य अकादमी (आईएमए) का गौरव बढ़ाया है जो एक प्रेरक परंपरा को आगे बढाने वाली संस्था है। उनसे पहले फील्ड मार्शल के.एम. करियप्पा, फील्ड मार्शल सैम मानेकशॉ और कई अन्य असाधारण योद्धाओं और रणनीतिकारों ने यहां युवा कैडेटों और संभावित नेताओं के रूप में अपनी सेवा यात्रा शुरू की। उनमें से कुछ ने हमारे देश की सुरक्षा और सम्मान के लिए अपने प्राणों की आहुति भी दी। उन्होंने विश्वास व्यक्त किया कि शीघ्र ही पराक्रम और बुद्धिमत्ता वाले अपने विशिष्ट जीवन की यात्रा पर निकलने वाले जेंटलमैन कैडेट आने वाले समय में इस अकादमी की समृद्ध विरासत को आगे बढ़ाएंगे।
इस पासिंग आउट परेड में अफगानिस्तान, भूटान, मालदीव, म्यांमार, नेपाल, श्रीलंका, ताजिकिस्तान, तंजानिया, तुर्कमेनिस्तान और वियतनाम के मित्र देशों के जेंटलमैन कैडेटों को देखकर राष्ट्रपति प्रसन्न दिखे। उन्होंने कहा कि हम अपने मित्र राष्ट्रों के बीच विशेष बंधन को संजो कर रखते हैं, और यह भारत के लिए बहुत गर्व की बात है कि मित्र देशों के ऐसे अच्छे अधिकारी और जेंटलमेन (सज्जन) आज यहां से स्नातक हो रहे हैं। उन्होंने विश्वास व्यक्त किया कि ये सभी भारतीय सैन्य अकादमी (आईएमए) में मिले प्रशिक्षण के दौरान अपने सहयोगियों और प्रशिक्षकों के साथ बने मित्रता के अनूठे बंधन को भविष्य में भी बनाए रखेंगे।
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